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महाभारत को अगर जवाब का कथा के अलावा किस अधिवेशन में कैसे जीना चाहिए आज के समय में बहुत सारी चीजें उचित और अनुचित हमको सरिता से हर एक चीज से प्रेरणा लेने के लिए उन चीजों को सकारात्मक बहुत सारी चीजें होती है जो उस समय उस संदर्भ में अच्छी होती हैं तो हमको नहीं चाहिए कोई भी किताब पढ़ने में बंदर देखना तो बकरी होता है भगवान कृष्ण ने क्या किया शर्म क्यों थे वापी में क्या चाहिए सारी बातें कुछ समय के अनुकूल थी और यह जीवन दर्शाती है बहुत सारे जो उसने थे वह अपनी एकता को प्ले कर रहे हैं कभी मुश्किल कभी कभी हमको जाना नहीं की सारी चीजें उसका हिसाब से
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आपको क्या लगता है कि मैं बस में क्या झूठ महाभारत में गलत तो ऐसा लगता है कि जो वाकया हुआ था द्रोपदी ने दुर्योधन को बोला था कि जमीन और पानी में अंतर क्यों नहीं शेखपुरी मां-बाप का कारण द्रोपदी के संवाद पूरी महाभारत का का जाएगा कि जो कि यह कहा ऐसा हुआ उसके बाद सो जुआ खेलने की जो रोती हुई थी और पांडवों ने अपनी दोस्ती को अपनी पत्नी को जुए में लगा दिया था मेरे को लगता है कि नहीं होना चाहिए और आपके लिए तो बिल्कुल गलत
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महाभारत में कुछ भी गलत नहीं जितनी कथाएं हैं उन्हें अगर हम आत्मसात करें तो हमें कुछ न कुछ सीखने को मिलता है महाभारत और 18 पुराणों की रचना करने वाले वेदव्यास ने बहुत परिश्रम के साथ इन ग्रंथों की रचना की है इसलिए इसमें कमेंट ढूंढना हमारी अज्ञानता है हमें इनमें से गुण और उद्देश्यों को ढूंढना चाहिए
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महाभारत में गलत क्या है कुछ भी गलत नहीं है हां महाभारत की कथाओं में जिन पात्रों ने गलतियां की वह तो आपके सामने स्पष्ट है गलत है द्रोपदी के वस्त्रों का हरण गलत टाइप पांडवों के साथ छल कपट धन्यवाद
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महाभारत अतीत की बात थी अब महाभारत में क्या गलत था क्या सही था यह आज के समय में भी व्यक्ति विशेष की जो रेसिंग पावर है ग्रहण करने की क्षमता है उस पर निर्भर करता है आज भी कुछ लोग होंगे जिसको शकुनी सही लगता है या दुर्योधन सही लगता है या धरती लगता है और बहुत सारे ऐसे भी लोग हैं जो कि अर्जुन को सही समझते हैं तो क्या सही था क्या गलत था यह व्यक्ति विशेष की सोच पर उसकी ग्रहण क्षमता पर निर्भर करता है आप महाभारत को किस रूप में देखते हैं आपको उसमें क्या ठीक चीज अच्छी लगती है और उसमें से क्या आप ग्रहण कर सकते हैं अपना सकते हैं यह ज्यादा महत्वपूर्ण है बजाए इसके कि हम उस में गलतियां ढूंढते रहे इतिहास गलतियां ढूंढने के लिए नहीं बल्कि गलतियों से सीखने के लिए होता है तो महाभारत से हमको क्या सीखना है इस पर ज्यादा जोर दिया जाना चाहिए जो गलत हुआ क्यों हो चुका उसको अब बदला नहीं जा सकता तो उसकी थानेदार करने से हमको कुछ भी हासिल नहीं होगा बस हम अपने आप को इतना याद रखें कि हम नीतियां ऐसी गलतियां नहीं करेंगे उन गलतियों से कुछ सीखेंगे और हम आगे बढ़ते जाएंगे शुभकामनाएं
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महाभारत में क्षेत्र का संबोधन हां जी गोदारा इतना कोई गलत नहीं चलेगा तो बताया गया एक सांड के माध्यम से बताया गया है उनके थी बड़ी गलती थी शासन ने जो हर स्तर पर आती है तो पल्लू पकड़ कर देखो सपना और विक्की अग्रवाल होता है उससे बोला था और उसने जो बताया था कुछ भी नहीं चलता है 3:00 बजे तथा उनके बच्चे पढ़ते हुए बार-बार हो रहा था परंतु जो है कुछ मन में कुछ से विकास की अंतिम है शेष में जो कुछ प्रकार की पालकी यात्रा गई थी क्योंकि उन्होंने जाम कर दिया इससे नाराज होकर खेतों में नारियों का सम्मान करना चाहिए और नारी बर्थडे पर भारी पूज्यंते तत्र देवता रमंते नारी तुम केवल श्रद्धा हो विश्वास ना करो जीवन के सुंदर समतल हरी-भरी वादियों के सम्मान को ठेस नहीं पहुंचेगी इसी कारण है हमारे नारियों के समान रिस्पेक्ट और उनके पुत्र है सम्मान होना चाहिए जो शिक्षा आवश्यकता प्रतीत होंगे धन्यवाद
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मैं तो यही कहूंगा कि महाभारत में सब अपनी जगह की बात है यानी कि अभिमन्यु मारा गया और सबसे पहली यह तो मुझे पता है उतना ही मैं बोलूंगा और एक स्त्री के पास पास पति नहीं हो सकते हैं द्रौपदी कितने पति थे पांच पति थे उसमें पांच पति पुण्य था और इस समय कोई कर ले तो अपराध हो जाएगा यह कौन सा है
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महाभारत में बहुत पूरी की पूरी राजनीति है उसमें क्या गलत है क्या सही है यह तो बहुत बड़े ज्ञानी आदमी से ही डिसाइड करना होता है और वो कर पाएंगे क्योंकि महाभारत एक ऐसा ग्रंथ है जिसमें युद्ध के साथ-साथ राजनीति का भी प्रयोग किया गया है वह सारे राजनीति का प्रयोग किया गया है जो एक नॉर्मल पॉलिटिक्स में होता है तो सब दुनिया की सबसे बड़ी राजनीति की किताब कहा जाए तो वह महाभारत है और इसमें क्या गलत है क्या सही है तभी शायद होगा जब आप महाभारत को पढ़ेंगे तो महाभारत आप पर बैठे थे या फिर उनके उनको ऑडियो में सुनो तो पूरी महाभारत को समझो फिर खुद आपको पता चल जाएगी कि क्या गलत है क्या
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